तीन साल की मासूम से हैवानियत करने के आरोपी मिथिलेश विश्वकर्मा के पकड़े जाने के बाद से उसका पिता धुरई गांव से फरार हो गया है

उत्तर प्रदेश गोरखपुर

सफल समाचार 
सुनीता राय 

उसने ही बेटे की जमानत करवाई थी। गांव के लोग आरोपी के पिता से भी खफा हैं। उनका कहना है कि अगर उसने जमानत नहीं कराई होती तो आरोपी जेल से बाहर नहीं आता।

मासूम के साथ हैवानियत करने वाले दरिंदे का नसीब अच्छा था कि वह हम लोगों के हाथ नहीं लगा, वरना हम लोग उसे यहीं मार डालते। ऐसे दरिंदों के लिए समाज में जगह नहीं होनी चाहिए। इनकी नापाक हरकत से बच्चे महफूज नहीं हैं। उसके साथ भी वही सलूक हो, जो निर्भया कांड के आरोपियों के साथ हुआ। उसे फांसी पर लटकना ही चाहिए, ताकि नजीर बने। इसके लिए हम सभी पुलिस-प्रशासन का सहयोग करने के लिए तैयार हैं।

यह कहना है तीन साल की मासूम बच्ची से हैवानियत करने वाले आरोपी मिथिलेश विश्वकर्मा के गांव के लोगों का। इस घटना ने सभी को अंदर से झकझोर दिया है। बृहस्पतिवार की दोपहर 3.30 बजे के करीब गांव के एक चौराहे पर लोग आपस में चर्चा कर रहे थे। इस घटना को लेकर सभी आक्रोशित नजर आए।

सभी की जुबां पर एक ही चर्चा रही-आरोपी को कड़ी सजा मिलनी चाहिए। आरोपी अब जेल में है, लेकिन उसे फांसी की सजा मिलनी चाहिए। पुलिस प्रशासन को इस तरह से पैरवी करनी चाहिए कि कोर्ट आरोपी को सजा सुनाए, ताकि हैवान फिर बाहर आकर किसी और बच्ची को अपनी हैवानियत का शिकार न बना सके..।

गांव में पन्नेलाल की चाय की दुकान पर बैठे सुनील ने कहा- ऐसे दरिंदे की वजह से बेटियां अपने घर में भी सुरक्षित नहीं है। अगर बच्ची, मां के पास सुरक्षित नहीं है तो फिर स्कूल, घर के बाहर खेलते वक्त कैसे हो सकती है। ऐसे आरोपी का एनकाउंटर कर देना चाहिए था।

खैर अब तो वह जेल में है, लेकिन उसे फांसी पर लटका देना चाहिए। बीच में राकेश साहनी बोल पड़े- जैसे दिल्ली में निर्भया कांड के आरोपियों के साथ हुआ था, वैसे ही इस दरिंदे के साथ होना चाहिए। अगर यह छूटा तो फिर इसी तरह की हरकत करेगा। इससे गांव को बचाना है तो इसे सजा दिलाना ही होगा।
यह वही है जिसने घर की बेटी को तक नहीं छोड़ा
तभी कैलाश यादव और गोरख बोले-अरे भाई ! काहे भूल जा रहे हो, यह वही तो है, जिसने अपनी घर की बेटी तक को नहीं छोड़ा था। उसके साथ भी ऐसी ही हैवानियत की थी, बड़ी मुश्किल से उसकी जान बच सकी थी। सभी आरोपी पर चर्चा कर ही रहे है कि शंभू निषाद भी आ जाते हैं।

उन्होंने कहा- बच्ची को भगवान शांति दे, लेकिन हम लोगों की भी जिम्मेदारी है कि आरोपी को सजा मिल सके। हम सबको आगे आने होगा। जहां जरूरत हो, वहां पर पुलिस के सहयोग की जरूरत है। विजय निषाद ने कहा कि इसे ऐसी सजा देनी चाहिए कि सबके लिए नजीर बने। इसे फांसी पर लटका देना चाहिए।

बेटे की जमानत कराने वाला पिता गांव से फरार

तीन साल की मासूम से हैवानियत करने के आरोपी मिथिलेश विश्वकर्मा के पकड़े जाने के बाद से उसका पिता धुरई गांव से फरार हो गया है। उसने ही बेटे की जमानत करवाई थी। गांव के लोग आरोपी के पिता से भी खफा हैं। उनका कहना है कि अगर उसने जमानत नहीं कराई होती तो आरोपी जेल से बाहर नहीं आता। तब शायद इतनी बड़ी घटना भी नहीं होती।

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