विश्वजीत राय
सफल समाचार
पडरौना। अवैध रुप से संचालित डग्गामार बसों के गिरोह ने परिवहन निगम की आंखों में धूल झोंकना शुरू कर दिया है। परिवहन निगम द्वारा अनुबंधित बसों के रंग में डग्गामार बसों को रंग कर चला रहे हैं। जालसाजी ऐसी की टिकट भी निगम से मिलता-जुलता छपवा रखा है। ताकि यात्री आसानी से उनकी जाल में फंस जाए। ऐसे बसों के खिलाफ तीन दिन का अभियान चलाया गया था।
8,9 और 10 नवंबर तक चले अभियान में एआरटीओ और एआरएम की संयुक्त टीम ने 8 बसों को पकड़ा था। दो को सील कर दिया गया। वहीं छह का सिर्फ चालान काटकर टीम ने पल्ला झाड़ लिया। 9 नवंबर को गोरखपुर से कुशीनगर जा रही बस जगदीशपुर में हादसे का शिकार हो गई। इसमें नौ लोगों की जान चली गई। हादसे में मरने वालों में 6 कुशीनगर के थे। यह विभागीय अधिकारियों को इस बस के भी अनुबंधित होने पर संदेह है। इसकी जांच कराई जा रही है।
पडरौना से रोज पांच से छह हजार यात्री बसों से सफर करते हैं। यह आकंड़े पडरौना डिपो के कर्मचारियों द्वारा बताया जाता है। त्योहरों के समय में यह संख्या दो गुना बढ़ जाती है। यात्रियों की संख्या को देखते हुए बसें समय से नहीं मिल पाती है। ऐसे में इसका लाभ निजी बस संचालक उठाते हैं। बस स्टेशन के पास निजी बसें भी बड़ी संख्या में खड़ी होती है। कुछ बस संचालकों ने यात्रियों को फंसाने के लिए जालसाजी का सहारा ले लिया है। ये संचालक अपनी बसों को परिवहन निगम की अनुबंधित बसों की तरह रंगवाकर संचालित कर रहे हैं। यहां तक कि टिकट भी निगम की तरह छपवा लिया है।