विश्वजीत राय
सफल समाचार कुशीनगर
कब है बुद्ध पूर्णिमा क्या है महात्मा बुद्ध द्वारा बताए गए दुखो से मुक्ति पाने का अष्टांगिक मार्ग
बुद्ध पूर्णिमा बौद्ध धर्म का एक महत्वपूर्ण त्योहार है, ये त्यौहार पूरे भारत में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है. बुद्ध पूर्णिमा वैशाख माह की पूर्णिमा के दिन मनाई जाती है.
इस वर्ष बुद्ध पूर्णिमा 23 मई 2024 को मनाई जाएगी. इस दिन भगवान विष्णु के अवतार गौतम बुद्ध का जन्म हुआ था और माना जाता है कि इसी दिन उन्हें ज्ञान की प्राप्ति भी हुई थी.
पौराणिक कथा के अनुसार इस दिन तीन बड़ी घटनाएं घटी थीं, इसलिए इस दिन को विशेष माना जाता है, पहला- उसका जन्म, दूसरा- ज्ञान और तीसरा- मुक्ति सभी एक ही तिथि पर आते हैं. इस दिन पवित्र नदियों में स्नान के अलावा दान का भी विशेष महत्व है. इस दिन वैशाख पूर्णिमा और बुद्ध पूर्णिमा होने की वजह से कुछ चीजों की खरीदारी करना शुभ होता है, इनकी खरीदारी करने से घर की खुशियों में वृद्धि होती है. तो आइए उसके बारे में जानें.
दुखों से मुक्ति पाने का अष्टांगिक मार्ग
बता दें कि भगवान बुद्ध का धर्म प्रचार 40 सालो तक चलता रहा, और अंत में उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में पावापुरी नामक स्थान पर 80 साल की अवस्था में ई.पू. 483 में वैशाख की पूर्णिमा के दिन ही महानिर्वाण प्राप्त हुआ था. हालांकि बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर कुशीनगर के महापरिनिर्वाण मंदिर में 1 महीने तक चलने वाले विशाल मेले का आयोजन किया जाता है, जिसमें देश विदेश के लाखों बौद्ध अनुयायी यहां पहुंचते हैं.
इन चीजों को खरीदना होगा शुभ
1. बुद्ध पूर्णिमा पर आप भगवान बुद्ध की मूर्ति घर ला सकते हैं, ऐसा करने से परिवार में सुख शांति बनी रहेगी.
2. वैशाख पूर्णिमा होने की वजह से आप इस दिन कौड़ी खरीदकर घर ला सकते हैं, मां लक्ष्मी को ये बहुत प्रिय है, इससे धन-धान्य में वृद्धि होती है.
3. पूर्णिमा के दिन वस्त्रों की खरीदारी शुभ होती है, आप गुलाबी या लाल रंग के कपड़े खरीद सकते हैं क्योंकि ये रंग मां लक्ष्मी को प्रिय है.
4. बुद्ध पूर्णिमा पर चांदी का सिक्का खरीदना शुभ होता है। इसे मां लक्ष्मी की पूजा में भी उपयोग किया जाता है. ऐसे में इसकी खरीदारी करना और भी शुभ हो सकता है, माना जाता है कि इस दिन चांदी की खरीदारी से भाग्य में भी वृद्धि होती है और मां लक्ष्मी भी प्रसन्न होती है.
6. इस दौरान आप पीतल का हाथी भी खरीद सकते हैं, मान्यता है कि इससे दरिद्रता दूर हो जाती है और घर-परिवार में सुख-शांति बनी रहती है.