सफल समाचार अजीत सिंह
दिनांक- 12-05-2023 को दुसान कम्पनी के ऑफिस पर श्रमिक धरने पर बैठें श्रमिकों को अपर श्रमायुक्त – श्री पंकज सिंह राणा के द्वारा मध्यस्थता कर वार्ता के आश्वासन पर श्रमिकों का धरना प्रदर्शन समाप्त कर दिया, मुख्य महाप्रबन्धक , ओबरा सी तापीय परियोजना, में०-/ दुसान कम्पनी, में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी एवं श्रमिकों के मध्य वार्ता कर निम्नलिखित सहमतियों को स्वीकार कर समझौते हस्ताक्षर किया गया कि,में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी द्वारा उपलब्ध करायी गयी वेतन भुगतान सूचि श्रमिक प्रतिनिधि को दिखाया गया जिससे वह पूर्ण सहमत है,भुगतान सूचि अनुसार मुख्य महाप्रबन्धक, ओबरा सी तापीय परियोजना , तीन कार्य दिवस के भीतर श्रमिकों के बैंक खातें में अंतरित करेंगे , तथा यह धनराशी दुसान कम्पनी के देयकों में समयोजित करेंगे।
•श्रमिकों को देय फुल फाइनल कि सूचि 03 कार्य दिवस (15-05-2023 तक) में तैयार करके में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी अपने नोटिस बोर्ड पर चस्पा करेंगे, तथा अगले दो दिनों में त्रुटी / आपत्तियों का निराकरण कर उसे दुसान कम्पनी के माध्यम से मुख्य महाप्रबन्धक, ओबरा सी तापीय परियोजना उपलब्ध करायेंगे, मुख्य महाप्रबन्धक, ओबरा सी तापीय परियोजना इस धनराशी का भुगतान श्रमिकों को कर के उसका समायोजन दुसान कम्पनी के देयकों से करेंगे।
•में०/- दुसान कम्पनी इस बात का पूर्ण प्रयास करेगी कि,में०/- ट्राईगार्ड के अधिक से अधिक श्रमिकों को सीधे अपने नियोजन में या अन्य संविदाकारों के माध्यम से कार्य उपलब्ध कराया जायेI तब तक श्रमिक पक्ष पूर्ण रूप से शांति व्यवस्था बनाये रखेंगे,वार्ता कि अगली तिथि- 19-05-2023 को श्रमायुक्त कार्यालय पिपरी में नियत कि जाती है।
उपरोक्त लिखित समझौते का सीधा उल्लंघन करते हुए मुख्य महाप्रबन्धक ओबरा सी तापीय परियोजना, में०-/ दुसान कम्पनी, में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी द्वारा तीन दिन बीत जाने के पश्चात् भी अभी तक श्रमिकों को भुगतान नहीं किया गया, में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी में कार्यरत 250 अपने तीन माह के बकाया मजदूरी भुगतान एवं अन्य अदेय पावनों के भुगतान के लिए दर-दर भटक रहे है,भुगतान ना मिलाने कि दशा में श्रमिकों के परिवार के समक्ष भूखों मरने नौबत आ चुकी है, कम्पनी एवं परियोजना प्रशासन द्वारा किये गए वादा खिलाफी के कारण श्रमिकों के बीच दुसान कम्पनी के विरुद्ध भारी आक्रोश एवं विरोध है,यदि श्रमिकों के समस्त अदेय पावनों का भुगतान तत्काल नहीं कराया गया तो, भारी औद्योगिक विवाद एवं अशांति उत्त्पन्न होने कि प्रबल सम्भावना है I अगली वार्ता कि नियत तिथि दिनांक 19-05-2023 को अपर श्रमायुक्त कार्यालय पिपरी-सोनभद्र पर थी,परन्तु किसी कारणवश अपर श्रमायुक्त अपने कार्यालय पर उपस्थित नहीं थे, उपरोक्त मामले में लेबर यूनियन- भारतीय संविदा श्रमिक संगठन – के महामंत्री- नागेन्द्र प्रताप चौहान ने जब फोन से उनसे वार्ता की तो उन्होंने कहा कि, श्रमिकों का बकाया भुगतान भुगतान अभी नहीं हो सकता हैI उनके भुगतान में एक सप्ताह का समय लग सकता हैI
आगे उन्होंने कहा कि, श्रमिको की समस्याओं के प्रति जिला प्रशासन एवं ओबरा सी परियोजना प्रशासन के शिथिलता बरतने के कारण श्रमिकों का धैर्य आज टूट चूका है, श्रमिक हतास और निराश है उन्हें ऐसा प्रतीत हो रहा है कि,उनका बकाया भुगतान डूब चूका जो अब नहीं मिलेगा है ,अपर श्रमायुक्त श्री पंकज सिंह राना ने अपने संवैधानिक दायित्यों का निर्वहन सही प्रकार नहीं किया, श्रम कानून अनुसार यदि कोई कम्पनी अपने श्रमिकों के बकाया वेतन का नहीं भुगतान करती है तो, श्रम आयुक्त उसके विरुद्ध आर० सी० जारी कर उक्त कम्पनी से समस्त धनराशी की वसूली कर सकते है, परन्तु उन्होंने कम्पनी का बचाव करते हुए उनके विरुद्ध आर०सी० नहीं जारी की, ओबरा सी परियोजना में श्रमिक आज बंधुआ मजदूरों कि तरह कार्य कर रहे है,कम्पनी द्वारा किये जा रहे आर्थिक एवं मानसिक शोषण के विरुद्ध आवाज भी नहीं उठा सकते , यदि वे ऐसा करते है तो कम्पनी उन्हें कार्य से निकाल देती है, आज ओबरा सी परियोजना में मजदूर बेरोजगारी के दंश से बचने के लिए अपने श्रम अधिकारों को कम्पनियों के यहाँ गिरवी रख के बंधुआ मजदूरों की तरह कार्य कर रहा है,इसी क्रम में मजदूर नेता श्री गरीब नवाज अहमद ने कहा कि, सोनभद्र में तमाम औद्योगिक परियोजनाएं है जैसे कि, अल्ट्राटेक, हिंडाल्को, जे०पी० सीमेंट उनके यहाँ कार्यरत श्रमिकों कि वेतन सम्बंधित कोई भी शिकायतें नहीं आती है, परन्तु ओबरा सी परियोजना में कार्यरत श्रमिकों की प्रतिदिन कोई ना कोई शिकायतें जरूर आती है, जो की जांच का विषय है I श्रमिकों में व्याप्त भारी आक्रोश एवं अशांति को देखते हुए में०-/ दुसान कम्पनी, में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी से श्रमिकों के समस्त अदेय पावनों का भुगतान तत्काल कराया जाए, अन्यथा कि स्थिति में श्रमिक अपने बकाया भुगतान की मांग को लेकर दिनाक-20-05-2023 ओबरा सी परियोजना के समक्ष धरना प्रदर्शन एवं आन्दोलन के लिए विवश होंगे, जिसकी सम्पूर्ण जिम्मेदारी जिला प्रशासन एवं मुख्य महाप्रबन्धक ओबरा सी तापीय परियोजना, में०-/ दुसान कम्पनी, में०/- ट्राईगार्ड कम्पनी की होगी।