एक माह में निर्माण कार्य शुरू होने की उम्मीद, गंभीर मरीजों के इलाज में आसानी होगी

उत्तर प्रदेश देवरिया
सफल समाचार 
शेर मोहम्मद 

देवरिया। महर्षि देवरहा बाबा मेडिकल काॅलेज में ट्राॅमा सेंटर के निर्माण का रास्ता साफ हो गया है। चिह्नित की गई भूमि पर ट्रांसफाॅर्मर और स्विच वार्ड होने के कारण निर्माण कार्य शुरू करने में दिक्कत आ रही थी, लेकिन उसे बिजली निगम ने हटा दिया है। एक माह में निर्माण कार्य शुरू होने की उम्मीद है। इसके बन जाने से गंभीर मरीजों के इलाज में आसानी होगी।

मेडिकल कॉलेज के इमरजेंसी में चौबीस घंटे में दो सौ से अधिक मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं। इसमें करीब तीस दुर्घटना में घायल मरीज होते हैं। ट्रामा सेंटर न होने से अस्पताल से दुर्घटना सहित अन्य बीमारियों के गंभीर दस से बारह मरीजों को हर रोज रेफर करना पड़ता है। वहीं ठंड के मौसम में आग से झुलस कर प्रतिदिन तीन से पांच मरीज आते हैं, जबकि प्वाइजनिंग के केस भी इमरजेंसी में पहुंचते हैं। इसमें गंभीर मरीजों के इलाज की सुविधा न होने से उन्हें भी हायर सेंटर भेजना पड़ता है, जिससे उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ता है। मरीजों को सुविधा उपलब्ध कराने के लिए प्राचार्य डॉ. राजेश कुमार बरनवाल की पहल पर शासन से नौ माह पहले मंजूरी मिल गई। वहीं सात माह पहले बजट स्वीकृत हो गया और मार्च माह में छह करोड़ रुपये भी अवमुक्त हो गया। कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश राज्य निर्माण निगम तैयारी शुरू कर दी। पर चिह्नित भूमि पर बिजली निगम का ट्रांसफार्मर और स्वीच वार्ड निर्माण कार्य में आड़े आ रहा था। शनिवार को उपखंडीय अधिकारी प्रत्युष बल्लभ और अवर अभियंता मनोज कुमार गुप्ता ने ट्रांसफार्मर हटवाया। इसके बाद अधिकारियों की देखरेख में कर्मचारियों ने क्रेन की मदद से स्वीच वार्ड का स्ट्रक्चर, तीन पोल, केबल सहित अन्य उपकरण को हटा दिया। अब निर्माण कार्य शुरू करने का रास्ता साफ हो गया है। इसके बन जाने से गंभीर मरीजों के इलाज में सहूलियत होगी।

ट्रामा सेंटर के तीन मंजिलें भवन में होंगे 70 बेड
मेडिकल कॉलेज में इमरजेंसी के पास एल-वन कटेगरी का करीब 25 करोड़ रुपये की लागत से 70 बेड का ट्रामा सेंटर स्थापित होगा। यह 1393 वर्ग मीटर में तीन मंजिला होगा। निर्माण पूरा करने के लिए दो साल का समय निर्धारित किया गया है। ट्रामा के लिए तीस बेड होगा, जबकि 20 बेड का बर्न और 20 बेड का टॉक्सिकोलॉजी वार्ड बनना है। यहां मॉड्यूलर ओटी, माइनर ओटी, मेडिकल पाइप लाइन, ऑक्सीजन, वेंटिलेटर, इंफ्यूजन पंप, मॉनीटर सहित अन्य अत्याधुनिक उपकरण होंगे। बर्न वार्ड पूरी तरह वातानुकूलित होगा। यहां प्लास्टर, एमआरआई, एक्स-रे, अल्ट्रासाउंड, ईसीजी, सीटी स्कैन जांच की भी सुविधा होगी।

– ट्रामा सेंटर के लिए चिह्नित भूमि से ट्रांसफाॅर्मर, स्वीच वार्ड सहित अन्य उपकरण हटा दिए गए हैं। एक माह में निर्माण कार्य शुरू हो जाएगा। इसके लिए कार्यदायी संस्था को निर्देश दिए गए हैं। इसके बन जाने से घायल व अन्य गंभीर मरीजों को इलाज की सुविधा उपलब्ध होगी। मरीजों व तीमारदारों को आसानी होगी, उन्हें बाहर नहीं जाना पड़ेगा।

डॉ. एचके मिश्रा, सीएमएस

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *