सफल समाचार
सुनीता राय
एएसपी मानुष पारिक ने कहा कि पुलिस ने एंबुलेंस मरीज माफिया की जांच की है। उसमें पांच स्तर से मरीज की बाहर भेजने की पुष्टि हुई है। पुलिस की ओर से मेडिकल कॉलेज प्रशासन को भी जानकारी दी गई है। स्वास्थ्य मेडिकल प्रशासन के सहयोग से पूरे गठजोड़ पर कार्रवाई की जाएगी।
बीआरडी मेडिकल कॉलेज से मरीज बिकते हैं। यह बात कहने, सुनने में थोड़ी अजीब जरूर है, लेकिन पूरी तरह सही है। इसका खुलासा खुद पुलिस की गोपनीय जांच में भी हुआ है। पता चला है कि मेडिकल कॉलेज के गेट पर चाय, नमकीन और पानी के सात ऐसे ठेले वाले हैं, जो मरीज बेचकर आलीशान बंगले के मालिक बन गए हैं।
चाय बेचने वाले ने भटहट में आलीशान बंगला बनाया है और दूसरा लग्जरी गाड़ी खरीदकर लाया है। इसी तरह बाकी ठेले वालों ने भी बंगले और गाड़ियों में खूब पैसा लगाया है। पुलिस को भी इसकी भनक लगने के बाद पूरा खेल खुल चुका है और जांच करके प्रमाण जुटाए जा रहे हैं।
एंबुलेंस मरीज माफिया के तार एक दूसरे से ऐसे जुड़े हैं कि किसी को भनक भी नहीं होती और सस्ते इलाज की आस लिए मेडिकल कॉलेज आया मरीज बिक कर एक नर्सिंग होम में पहुंच जाता है। फिर के बिल चुकाने के लिए जमीन- जायदाद तक बेचनी पड़ जाती है। उधर, इस गंदे धंधे में लगे लोग मालामाल हो रहे हैं।
इस गठजोड़ को तोड़ने में लगी पुलिस अब स्वास्थ्य विभाग से मदद मांग रही है। खबर है कि पूरी रिपोर्ट के आधार पर मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने भी कार्रवाई और सहयोग का भरोसा दिया है।