गोरखपुर में भड़क गया दंगा, हत्या के जुर्म में 16 साल बाद अभियुक्त को आजीवन कारावास

उत्तर प्रदेश गोरखपुर

सुनीता राय
सफल समाचार

गोरखपुर। हत्या का जुर्म साबित होने पर अपर सत्र न्यायाधीश पंकज श्रीवास्तव ने तिवारीपुर थाना क्षेत्र के मोहल्ला निजामपुर निवासी अभियुक्त मोहम्मद शमीम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अभियुक्त पर 13 हजार पांच सौ रुपये अर्थदंड भी लगाया गया है। अर्थदंड न देने पर अभियुक्त को एक साल तीन माह 15 दिन का कारावास अलग से भुगतना होगा। दरअसल, इस हत्या के दूसरे दिन 27 जनवरी 2007 को शहर में दंगा भड़क गया था।

अभियोजन पक्ष की ओर से सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता प्रमोद कुमार मौर्य का कहना था कि वादी राजेंद्र प्रसाद अग्रहरि कोतवाली थाना क्षेत्र के दीवान बाजार का निवासी हैं। 26 जनवरी 2007 को रात करीब 12 बजे उनका बेटा राजकुमार अग्रहरि डीएवी काॅलेज से बहुभोज से घर आ रहा था।

अभी वह एक मीनारा मस्जिद मोड़ पर पहुंचा था कि सामने से निजामपुर का मोहर्रम जुलूस आ रहा था। जुलूस के साथ चल रहे अभियुक्त मोहम्मद शमीम और उसके साथियों ने धार्मिक कटुता को लेकर चाकू व तलवार से हमला कर दिया। घायल अवस्था में वादी के लड़के को मेडिकल कॉलेज लाया गया, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।

और जब गरमा गया था शहर का माहौल, लगा था कर्फ्यू

26 जनवरी 2007 की रात डीएवी डिग्री कालेज परिसर में शादी समारोह आयोजित था। इस शादी में इस्माइलपुर, कोतवाली निवासी राजकुमार अग्रहरी भी शामिल थे। आर्केस्ट्रा देखने के दौरान उनका कुछ लोगों से रात में एक बजे विवाद हो गया था। दूसरे पक्ष के लोगों ने राजकुमार पर हमला कर दिया। जान बचाने के लिए वह वहां से बाहर निकले। उस समय कालेज गेट के सामने से मोहर्रम का जुलूस निकल रहा था।
राजकुमार भागते हुए जुलूस के बीच घुस गए। उन पर हमला करने वाले युवक पीछा करते हुए जुलूस में आ गए और राजकुमार को पीटने लगे। जुलूस के साथ चल रहे तिवारीपुर थाने के तत्कालीन थानेदार रामजी चौधरी ने राजकुमार को हमलावरों के बीच से निकालकर अपनी जीप में पीछे बिठा लिया। कुछ देर बाद हमलावरों ने उन्हें जीप से खींच कर बुरी तरह से पीट दिया।

पुलिस ने उनको मेडिकल कालेज में भर्ती कराया, जहां दूसरे दिन भोर में चार बजे के आसपास उनकी मौत हो गई। राजकुमार के साथ हुई घटना की दोनों समुदायों में अलग-अलग प्रतिक्रिया हुई। शहर में तोड़फोड़, आगजनी कर दी गई। इसके विरोध में तत्कालीन सांसद योगी आदित्यनाथ समर्थकों के साथ खूनीपुर चौराहे पर 27 जनवरी 2007 को धरने पर बैठ गए थे। जिसके बाद शहर में कर्फ्यू लगा दिया गया था।

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